एफआईएसटी सलाहकार बोर्ड के नए अध्यक्ष डॉ. संजय ढांडे ने कहा, “बेहद सफल एफआईएसटी कार्यक्रम को अब आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य की ओर उन्मुख करने के लिए उसमें परिवर्तन करके उसमें नयापन लाकर एफआईएसटी 2.0 लाया जाएगा ताकि न केवल प्रायोगिक कार्य के लिए बल्कि अनुसंधान और विकास अवसंरचना का निर्माण किया जा सके बल्कि सैद्धांतिक कार्य, विचारों और उद्यमशीलता को भी पूरा किया जा सके। यह एफआईएसटी 2.0 के लिए एक नया प्रतिमान तैयार करेगा।”
एसएंडटी बुनियादी ढांचा नेटवर्क अब अधिक लाभार्थियों तक पहुंच जाएगा और राष्ट्रीय मिशनों और सतत विकास लक्ष्यों के साथ-साथ विभिन्न स्टार्ट-अप और उद्योगों को बढ़ावा देने वाले प्रौद्योगिकी ट्रांसलेशनल अनुसंधान की दिशा में संरेखण पर ध्यान केंद्रित करेगा। पुनर्गठन भी सुधार (उपकरण केंद्रित) आधारित अनुसंधान से अंतःविषय समस्या समाधान केंद्रित अनुसंधान के लिए एक बदलाव की आवश्यकता होगी।
Source-pib.gov.in (रिलीज़ आईडी: 1665559)
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